" Zindagi ka fasala bhi kitna ajeeb hai,
Shaame kat ti nahi aur saal guzarte chale jaa rehe hai ".
#2023ending
✍🥀
Shaame kat ti nahi aur saal guzarte chale jaa rehe hai ".
#2023ending
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😢5
रफ्तार कुछ इस तरह तेज़ है ज़िन्दगी की
सुबह का दर्द शाम तक पुराना हो जाता है।
बिताए जो दर्द भरे पल हैं इस साल
उन्हें छोड़ दें पीछे
क्योंकि अंत में साल पुराना हो जाता है।
#2023ending
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सुबह का दर्द शाम तक पुराना हो जाता है।
बिताए जो दर्द भरे पल हैं इस साल
उन्हें छोड़ दें पीछे
क्योंकि अंत में साल पुराना हो जाता है।
#2023ending
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❤5